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Monday, January 3, 2022

आज का पंचांग दिनांक 03 जनवरी 2022(Aaj ka panchang date 03 January 2022)





आज का पंचांग दिनांक 03 जनवरी 2022(Aaj ka panchang date 03 January 2022):-प्रतिपदा तिथि के स्वामी:-प्रतिपदा तिथि के स्वामी अग्नि देव की पूजा-आराधना करनी चाहिए। जिससे अग्नि देव खुश होकर मनुष्य को जीवन में खुशहाली प्रदान करे।


प्रतिपदा तिथि के दिन करने योग्य काम:-प्रतिपदा तिथि के दिन मनुष्य को चित्रकारी, आसव विधि, खेती के काम, शैय्या एवं आसन से सम्बंधित काम, वृक्ष काटना, गृह, पत्थर आदि से सम्बंधित काम करना बढ़िया रहता है। 



द्वितीया तिथि के स्वामी:-द्वितीया तिथि के स्वामी ब्रह्माजी को पूजा-अर्चना करके उनको खुश करके उनका आशीर्वाद पाना चाहिए, जिससे मनुष्य को अपने जीवन धन-सम्पति मिल सके।



द्वितीया तिथि के दिन करने योग्य काम:-द्वितीया तिथि के दिन मनुष्य को राजकीय प्रशासनिक काम, विवाह, उपनयन, यात्रा, देवप्रतिष्ठा, आभूषण, गृह, समस्त पौष्टिक एवं शुभ आदि काम करना ठीक रहता है।


अभिजीत महूर्त का समय:-प्रातःकाल 12:05 से दोपहर 12:46 तक का समय शुभ होने से जिन कामों को करने में मुहूर्त नहीं मिलने पर अभिजीत मुहूर्त के समय में कामों को करने से कामयाबी मिलती है। 




         ।।दैनिक पंचांग का विवरण।।


दिनांक------------------03 जनवरी 2022।

महीना (अमावस्यांत् )---------पौष

महीना (पूर्णिमांंत् )-------------पौष।

पक्ष------------------------------शुक्ल पक्ष।

कलियुगाब्द्--------------------5123।

विक्रम संवत्-------------------2078 विक्रम संवत।

विक्रम संवत् (कर्तक्)---------2078 विक्रम संवत।

शक संवत्----------------------1943 शक संवत।

ऋतु-----------------------------शिशिर ऋतु।

सूर्य का अयण----------------उत्तरायणे।

सूर्य का गोल----------------- दक्षिण गोले।

संवत्सर(उत्तर)------------------आनंद।

संवत्सर--------------------------प्लव ।



  ।।आज के पंचांग के हालात को जानें।। 


तिथि----प्रतिपदा तिथि रात्रिकाल 20:31:27 तक रहेगी, 

उसके बाद द्वितीया तिथि रात्रिकाल 20:31:27 से शुरू होगी।

वार-------------सोमवार

नक्षत्र--------पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र दोपहर 13:31:49 तक रहेगा,

उसके बाद

नक्षत्र----------उत्तराषाढ़ा नक्षत्र दोपहर 13:31:49 से शुरू प्रातः(कल) 34:55:44  तक रहेगी

योग......व्याघात योग प्रातः(कल) 25:23:10 तक रहेगा, 

उसके बाद में

योग......हर्षण योग प्रातः(कल) 25:23:10 से शुरू होगा।

करण.....किन्स्तुघ्न करण प्रातःकाल 10:15:25 तक रहेगा, 

उसके बाद

करण.........बव करण रात्रिकाल 20:31:27 तक रहेगा,

उसके बाद में

करण........बालव करण रात्रिकाल 20:31:27 से शुरू होकर प्रातः(कल) 30:52:02 तक रहेगा।

चन्द्रमा की राशि-------धनु राशि में चन्द्रमा रात्रिकाल 18:51:00 तक रहेगा, 

उसके बाद में मकरे  राशि में चन्द्रमा शुरू होगा।

सूर्य की राशि......सूर्य  धनु राशि में रहेगा।

सौर प्रविष्टे............19, पौष।


   

सूर्य का उदय व अस्त,दिनमान व रात्रिमान और चन्द्रमा के उदय और अस्त का समय:-

सूर्योदय का समय:-प्रातःकाल 07:15:47

सूर्यास्त का समय:-रात्रिकाल 17:35:30।

चन्द्रोदय का समय:-प्रातः(कल) 31:36:53

चन्द्रास्त का समय:-रात्रिकाल 18:14:15। 

दिनमान का समय:-प्रातःकाल 10:19:42।

रात्रिमान का समय:-दोपहर 13:40:28


आज जन्में बच्चे के नक्षत्र का चरण और नाम अक्षर:-


तीसरे चरण फा अक्षर के पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र का समय प्रातःकाल 08:13:33 तक रहेगा।

चतुर्थ चरण ढा अक्षर के पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र का समय दोपहर 13:31:49 तक रहेगा।

पहले चरण भे अक्षर के उत्तराषाढ़ा नक्षत्र का समय रात्रिकाल 18:51:00 तक रहेगा।

दूसरे चरण भो अक्षर के उत्तराषाढ़ा नक्षत्र का समय प्रातः(कल) 24:11:16 तक रहेगा।

तीसरे चरण जा अक्षर के उत्तराषाढ़ा नक्षत्र का समय प्रातः(कल) 29:32:47 तक रहेगा।



।।आंग्ल मतानुसार 03 जनवरी 2022  ईस्वी सन।


      ।।आज के दिन का शुभ मुहूर्त का समय।।   

                  

अभिजीत महूर्त का समय:-प्रातःकाल 12:05 से दोपहर 12:46 तक का समय शुभ होने से जिन कामों को करने में मुहूर्त नहीं मिलने पर अभिजीत मुहूर्त के समय में कामों को करने से कामयाबी मिलती है। 


       ।।आज के दिन के अशुभ मुहूर्त का समय।। 

                

राहुकाल मुहूर्त का समय:-प्रातःकाल 08:33 से 09:51 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त का समय होने से अच्छे कामों को इस समय में नहीं करे। 

यमघण्टा मुहूर्त का समय:-प्रातःकाल 11:08 से 12:26 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

गुलिक मुहूर्त का समय:-दोपहर 13:43 से 15:01 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

दूर मुहूर्त का समय:-दोपहर 12:46 से 13:28 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

दूर मुहूर्त का समय:-दोपहर 14:50 से 15:32 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।


            ।।आज के दिन दिशाशूल से बचने का उपाय।।


दिशा शूल:-पूर्व दिशा की ओर रहने से यदि जरूरी हो तो चन्दन लगाकर या चन्दन का दान करके या दूध पीकर करके यात्रा करने से दिशाशूल का परिहार हो जाता है। 



           ।।आज के शुभ-अशुभ चौघड़िया को जानें।।


नोट:-दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है। 

◆प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है। 

"चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।

शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥

रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।

अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥"

अर्थात-:

चर:- में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।

उद्वेग:- में जमीन सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।

शुभ:- में औरत श्रृंगार, सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।

लाभ:- में धंधा करें ।

रोग:- में जब कोई बीमार बीमारी से ठीक होने पर उसे स्नान करें। 

काल:- में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।

अमृत:- में सभी शुभ कार्य करें।


      दिन के चौघड़िया के समय से जानें मुहूर्त को:- 


अमृत का चौघड़िया:-प्रातःकाल 07:16 से 08:33 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

काल का चौघड़िया:-प्रातःकाल 08:33 से 09:51 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए अशुभ रहेगा।

शुभ का चौघड़िया:-प्रातःकाल 09:51 से 11:08 तक रहेगा, जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

रोग का चौघड़िया:-प्रातःकाल 11:08 से 12:26 तक रहेगा, जो कि शुभ  कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

उद्वेग का चौघड़िया:-दोपहर 12:26 से 13:43 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

चर का चौघड़िया:-दोपहर 13:43 से 15:01 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

लाभ का चौघड़िया:-दोपहर 15:01 से 16:18 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

अमृत का चौघड़िया:-सायंकाल 16:18 से 17:36 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।


      रात के चौघड़िया के समय से जानें मुहूर्त को:-


चर का चौघड़िया:-रात्रिकाल 17:36 से 19:18 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

रोग का चौघड़िया:-रात्रिकाल 19:18 से 21:01 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के शुभ रहेगा।

काल का चौघड़िया:-रात्रिकाल 21:01 से 22:43 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

लाभ का चौघड़िया:-रात्रिकाल 22:43 से 24:26 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

उद्वेग का चौघड़िया:-मध्य रात्रि 24:26 से 26:08 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

शुभ का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 26:08 से 27:51 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

अमृत का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 27:51 से 29:33 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

चर का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 29:33 से 31:16 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।



         ।।सूर्य के उदय के समय के लग्न को जानें।।


सूर्योदयकालीन उदित लग्न:-धनु लग्न 18°29' गति 258°29' रहेगा।

सूर्य नक्षत्र:-पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र में सूर्य रहेंगे।

चन्द्रमा नक्षत्र:-पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र में चन्द्रमा रहेंगे।

           

गोचर राशि में ग्रहों के हालात,नक्षत्रों के चरण और अक्षर :-जो नीचे बताये गए है:-


ग्रह----------राशि----------नक्षत्र के चरण--अक्षर      


सूर्य ग्रह:-धनु राशि में पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र के दूसरे चरण के धा अक्षर में रहेगा।  

चन्द्रमा ग्रह:-धनु राशि में पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र के तीसरे चरण के फा अक्षर में रहेगा।  

मंगल ग्रह:-वृश्चिक राशि में ज्येष्ठा नक्षत्र के दूसरे चरण के या अक्षर में रहेगा।   

बुध ग्रह:-धनु राशि में उत्तराषाढ़ा नक्षत्र के चौथे चरण के जी अक्षर में रहेगा। 

गुरु ग्रह:- कुम्भ  राशि में शतभिषा नक्षत्र के पहले चरण के गो अक्षर में रहेगा।

शुक्र-ग्रह:-मकर राशि में उत्तराषाढ़ा नक्षत्र के पहले चरण के भे अक्षर में रहेगा।

शनि ग्रह:-मकर राशि में श्रवण नक्षत्र के तीसरे चरण के खे अक्षर में रहेगा।

राहु ग्रह:-वृषभ राशि में कृत्तिका नक्षत्र के तीसरे चरण के उ अक्षर में रहेगा।

केतु ग्रह:-वृश्चिक राशि में अनुराधा नक्षत्र के पहले चरण के ना अक्षर में रहेगा। 


       ।।अंक शास्त्र ज्योतिष विज्ञान से जानें हाल:-


03 तारीख को जन्में मनुष्य के लिए मूलांक 03 के लिए शुभाशुभ:-

शुभ-तारीखें:-हर माह की 3, 12, 21 व 30 तारीख शुभ होती है।

शुभ-वार:-गुरुवार।

शुभ-वर्ष:-उम्र के 3, 12, 21, 30, 39, 48, 57, 66, 75, 84 व 93 वें वर्ष ।

शुभ-दिशा:-ईशान कोण की दिशा।

शुभ-रंग:-पिला, सुनहरा।

शुभ-रत्न:-पुखराज।

शुभ-धातु:-सोना।

आराध्य-देव:-विष्णु जी।

जपनीय-मन्त्र:-ऊँ बृं बृहस्पतये नमः।

पूज्य-धारण योग्य यंत्र:-

               10      5       12

               11      9         7

                6      13        8

मित्र-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-1, 2, 3 व 9।

शत्रु-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-5 व 6।

सम-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-4, 7 व 8।