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Thursday, June 10, 2021

आज का पंचांग दिनांक 10 जून 2021 (Aaj ka panchang date 10 June 2021)

                



आज का पंचांग दिनांक 10 जून 2021 (Aaj ka panchang date 10 June 2021):-

अमावस्या तिथि के स्वामी:-अमावस्या तिथि के स्वामी पितर होते है। इसलिए आज के दिन पितर पूजा-अर्चना और उनका तर्पण करके खुश करना चाहिए। जिससे मनुष्य के जीवन में सुख और खुशहाली की प्राप्ति हो सके और पितरों का आशीर्वाद मनुष्य के ऊपर बना रहे।

अमावस्या तिथि के दिन में करने योग्य काम:-अमावस्या तिथि के दिन मनुष्य को पितरों को तिल और जव से तर्पण करना चाहिए।

प्रतिपदा तिथि के स्वामी:-प्रतिपदा तिथि के स्वामी अग्नि देव की पूजा-आराधना करनी चाहिए। जिससे अग्नि देव खुश होकर मनुष्य को जीवन में खुशहाली प्रदान करे।

प्रतिपदा तिथि के दिन करने योग्य काम:-प्रतिपदा तिथि के दिन मनुष्य को चित्रकारी, आसव विधि, खेती के काम, शैय्या एवं आसन से सम्बंधित काम, वृक्ष काटना, गृह, पत्थर आदि से सम्बंधित काम करना बढ़िया रहता है। 


विशेष:-आज के दिन देवपितृकार्ये अमावस्या भावुका 30 है।

विशेष:-आज के दिन वटसावित्री व्रत:-वटसावित्री का व्रत करने स्त्रियों का सुहाग अजर रहता है, कीर्ति, पुण्य एवं धन-धान्य की वृद्धि होती हैं। सब दरिद्रता दूर हो गयी तथा वह अत्यंत ऐश्वर्यशाली हो गया। अतः इस दिन यह व्रत करने से उसकी दरिद्रता दूर होकर धन-धान्य व लक्ष्मी की प्राप्ति होती हैं।


विशेष:-आज के दिन शनि जयंती एवं सन्त ज्ञानेश्वर जयंती हैं।


         ।।दैनिक पंचांग का विवरण।।


दिनांक------------------10 जून 2021          

महीना (अमावस्यांत् )---------वैशाख

महीना (पूर्णिमांंत् )-------------ज्येष्ठ

पक्ष------------------------------कृष्ण पक्ष

कलियुगाब्द्--------------------5123

विक्रम संवत्-------------------2078 विक्रम संवत

विक्रम संवत् (कर्तक्)---------2077 विक्रम संवत

शक संवत्----------------------1943 शक संवत

ऋतु-----------------------------ग्रीष्म ऋतु

सूर्य का अयण----------------उत्तरायणे

सूर्य का गोल------------------उत्तर गोले

संवत्सर(उत्तर)------------------आनंद

संवत्सर--------------------------प्लव 



       ।।आज के पंचांग के हालात को जानें।। 


तिथि----अमावस्या तिथि सायंकाल 16:21:40 तक रहेगी,

उसके बाद प्रतिपदा तिथि शुरू होगी।

वार-------------गुरुवार

नक्षत्र---रोहिणी नक्षत्र प्रातःकाल 11:43:23 तक रहेगा,

उसके बाद मृगशिरा नक्षत्र शुरू होगा।

योग....धृति योग प्रातःकाल 07:46:11 तक रहेगा,

उसके बाद शूल योग शुरू होगा।

करण...नाग करण सायंकाल 16:21:40 तक रहेगा,उसके बाद 

करण...किंस्तुघ्न करण शुरू होकर प्रातः(कल) 29:28:08  तक रहेगा

चन्द्रमा की राशि--वृषभ राशि में चन्द्रमा प्रातः(कल) 25:08:37तक रहेगा,

उसके बाद में मिथुन राशि में चन्द्रमा शुरू होगा

सूर्य की राशि---------वृषभ राशि में सूर्य रहेगा।

सौर प्रविष्टे............28,ज्येष्ठ।



सूर्य का उदय व अस्त,दिनमान व रात्रिमान और चन्द्रमा के उदय और अस्त का समय:-

सूर्योदय का समय:-प्रातःकाल 05:24:02।

सूर्यास्त का समय:-रात्रिकाल 19:17:18।

चन्द्रोदय का समय:-प्रातःकाल 05:45:08।

चन्द्रास्त का समय:-रात्रिकाल 19:22:54।

दिनमान का समय:-दोपहर 13:53:16।

रात्रिमान का समय:-प्रातःकाल 10:06:44। 



आज जन्में बच्चे के नक्षत्र का चरण और नाम अक्षर:-

चौथे चरण वू अक्षर रोहिणी नक्षत्र का समय प्रातःकाल 11:43:23 तक रहेगा।

पहले चरण वे अक्षर मृगशिरा नक्षत्र का समय सायंकाल 18:26:30 तक रहेगा।

दूसरे चरण वो अक्षर मृगशिरा नक्षत्र का समय प्रातः(कल)  25:08:37 तक रहेगा।

तीसरे चरण का अक्षर मृगशिरा नक्षत्र का समय प्रातः(कल) 31:49:40 तक रहेगा। 




 ।।आंग्ल मतानुसार 10 जून  2021  ईस्वी सन।


   ।।आज के दिन के अशुभ मुहूर्त का समय।।           

राहुकाल मुहूर्त का समय:-दोपहर 14:05 से 15:49 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त का समय होने से अच्छे कामों को इस समय में नहीं करे। 

यमघण्टा मुहूर्त का समय:-प्रातःकाल 05:24 से 07:08 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

गुलिक मुहूर्त का समय:-प्रातःकाल 08:52 से 10:37 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

दूर मुहूर्त का समय:-प्रातःकाल 10:02 से 10:57 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

दूर मुहूर्त का समय:-दोपहर 15:35 से 16:31 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त हैं।


        ।।आज के दिन का शुभ मुहूर्त का समय।।                     

अभिजीत महूर्त का समय:-दोपहर 11:53 से दोपहर 12:48 तक का समय शुभ होने से जिन कामों को करने में मुहूर्त नहीं मिलने पर अभिजीत मुहूर्त के समय में कामों को करने से कामयाबी मिलती है।



   ।।आज के दिन दिशाशूल से बचने का उपाय।।



दिशा शूल:-दक्षिण दिशा की ओर रहने से यदि जरूरी हो तो तिल का या गुड़ या गुड़ के चावल खाकर या दही पीकर करके यात्रा करने से दिशाशूल का परिहार हो जाता है। 


 ।।आज के शुभ-अशुभ चौघड़िया को जानें।।


नोट:-दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है। 

◆प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है। 

"चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।

शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥

रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।

अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥"

अर्थात-:

चर:- में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।

उद्वेग:- में जमीन सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।

शुभ:- में औरत श्रृंगार ,सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।

लाभ:- में धंधा करें ।

रोग:- में जब कोई बीमार बीमारी से ठीक होने पर उसे  स्नान करें ।

काल:- में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।

अमृत:- में सभी शुभ कार्य करें ।


   दिन के चौघड़िया के समय से जानें मुहूर्त को:- 


शुभ का चौघड़िया:-प्रातःकाल 05:24 से 07:08 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

रोग का चौघड़िया:-प्रातःकाल 07:08 से 08:52 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

उद्वेग का चौघड़िया:-प्रातःकाल 08:52 से 10:37 तक रहेगा,जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

चर का चौघड़िया:-प्रातःकाल 10:37 से 12:21 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ  रहेगा।

लाभ का चौघड़िया:-दोपहर 12:21 से 14:05 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

अमृत का चौघड़िया:-दोपहर 14:05 से 15:49 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

काल का चौघड़िया:-दोपहर 15:49 से 17:33 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

शुभ का चौघड़िया:-सायंकाल 17:33 से 19:17 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

       


रात के चौघड़िया के समय से जानें मुहूर्त को:-


अमृत का चौघड़िया:-रात्रिकाल 19:17 से 20:33 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

चर का चौघड़िया:-रात्रिकाल 20:33 से 21:49 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

रोग का चौघड़िया:-रात्रिकाल 21:49 से 23:05 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए  शुभ रहेगा।

काल का चौघड़िया:-रात्रिकाल 23:05 से 24:21 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

लाभ का चौघड़िया:-मध्य रात्रि 24:21 से 25:37 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

उद्वेग का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 25:37 से 26:52 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

शुभ का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 26:52 से 28:08 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ  रहेगा।

अमृत का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 28:08 से 29:24 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।


 

।।सूर्य के उदय के समय के लग्न को जानें।।


सूर्योदयकालीन उदित लग्न:-वृषभ लग्न 25°12' गति 55°12' रहेगा।

सूर्य नक्षत्र :- मृगशिरा  नक्षत्र में सूर्य रहेंगे।

चन्द्रमा नक्षत्र:-रोहिणी  नक्षत्र में चन्द्रमा रहेंगे।

           

गोचर राशि में ग्रहों के हालात,नक्षत्रों के चरण और अक्षर :-जो नीचे बताये गए है:-


ग्रह----------राशि----------नक्षत्र के चरण--अक्षर      


सूर्य ग्रह:-वृषभ राशि मे मृगशिरा नक्षत्र के पहले चरण के वे अक्षर में रहेंगे।

चन्द्रमा ग्रह:-वृषभ राशि में रोहिणी नक्षत्र के चौथे चरण के वू अक्षर में रहेंगे।

मंगल ग्रह:मिथुन राशि में पुष्य नक्षत्र के पहले  चरण के हु अक्षर में रहेंगे।

बुध ग्रह:वृषभ राशि में मृगशिरा नक्षत्र के दूसरे चरण के वो अक्षर में रहेगा।

गुरु ग्रह:कुंभ राशि में शतभिषा नक्षत्र के पहले चरण के गो अक्षर में रहेगा। 

शुक्र-ग्रह:-मिथुन राशि में आर्द्रा नक्षत्र के तीसरे चरण के ङ अक्षर में रहेगा।

शनि ग्रह:-मकर राशि में श्रवण नक्षत्र के तीसरे चरण के खे अक्षर में रहेगा।

राहु ग्रह:-वृषभ राशि में रोहिणी नक्षत्र के दूसरे चरण के वा अक्षर में रहेगा।

केतु ग्रह:-वृश्चिक राशि में अनुराधा नक्षत्र के चौथे चरण के ने अक्षर में रहेगा। 


    ।।अंक शास्त्र ज्योतिष विज्ञान से जानें हाल:-


10 तारीख को जन्में मनुष्य के लिए मूलांक 01 के लिए शुभाशुभ:-

शुभ-तारीखें:-हर माह की 1, 10, 19 व 28 तारीख शुभ है।

शुभ-वार:-रविवार, सोमवार।

शुभ-वर्ष:-उम्र के 1, 10, 19, 28, 37, 46, 55, 64, 73, 82 और 91 वें वर्ष।

शुभ-दिशा:-पूर्व दिशा।

शुभ-रंग:-पिला, सुनहरा, नारंगी, ताम्रवर्ण।

शुभ-रत्न:-माणिक्य।

शुभ-धातु:-सोना, ताँबा।

आराध्य-देव:-सूर्य देव व शिव भगवान।

जपनीय-मन्त्र:-ऊँ घृणिः सूर्याय नमः ।

पूज्य-धारण योग्य यंत्र:-

              6        1       8

              7        5       3

              2        9       4

मित्र-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-1, 2, 3, 9।

शत्रु-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-4, 6, 7, 8।

सम-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-5।