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Monday, February 28, 2022

आज का पंचांग दिनांक 28 फरवरी 2022(Aaj ka panchang Date 28 February 2022)

आज का पंचांग दिनांक 28 फरवरी 2022(Aaj ka panchang Date 28 February 2022)




आज का पंचांग दिनांक 28 फरवरी 2022(Aaj ka panchang Date 28 February 2022):-त्रयोदशी तिथि के स्वामी कामदेव जी की पूजा-अर्चना करके कामदेव जी को खुश करना चाहिए, जिससे कामदेव जी खुश होकर मनुष्य के दाम्पत्य जीवन में प्रेम की भावना बढ़ सके और मनुष्य के जीवन में चारों ओर प्रेम ही प्रेम रह सके। जिससे उनका आशीर्वाद मिल सके और मनुष्य को अपने दाम्पत्य जीवन सुख-शांति एवं प्यार की प्राप्ति हो सके।


त्रयोदशी तिथि के दिन करने योग्य काम:-त्रयोदशी तिथि के दिन में मनुष्य को अग्न्याधान, प्रतिष्ठा, विवाह, उपनयन, समस्त मांगलिक काम, यात्रा आदि काम करना ठीक रहता है।


अभिजीत महूर्त का समय:-दोपहर 12:11 से दोपहर 12:57 तक का समय शुभ होने से जिन कामों को करने में मुहूर्त नहीं मिलने पर अभिजीत मुहूर्त के समय में कामों को करने से कामयाबी मिलती है। 


विशेष:-आज के दिन सर्वाथ सिद्धि योग प्रातःकाल 07:07 से प्रातः(कल) 29:18 तक रहेगा।


सर्वाथ सिद्धि योग:-आज के दिन सर्वाथ सिद्धि योग होने से जिन मांगलिक कामों कोई मुहूर्त नहीं मिलने पर सर्वाथ सिद्धि मुहूर्त में मांगलिक और दूसरे सभी काम करने से काम में सफलता मिलती हैं।


विशेष:-आज के दिन भरणी नक्षत्र प्रातः(कल) 27:15 से प्रवेश करेगा।

विशेष:-आज के दिन राष्ट्रीय विज्ञान दिवस हैं।


विशेष:-आज के दिन सोम प्रदोष व्रतं हैं।



      ।।दैनिक पंचांग का विवरण।।


दिनांक------------------28 फरवरी 2022।

महीना (अमावस्यांत् )---------माघ

महीना (पूर्णिमांंत् )-------------फाल्गुन।

पक्ष------------------------------कृष्ण पक्ष।

कलियुगाब्द्--------------------5123।

विक्रम संवत्-------------------2078 विक्रम संवत।

विक्रम संवत् (कर्तक्)---------2078 विक्रम संवत।

शक संवत्----------------------1943 शक संवत।

ऋतु-----------------------------बसंत ऋतु।

सूर्य का अयण----------------उत्तरायणे।

सूर्य का गोल----------------- दक्षिण गोले।

संवत्सर(उत्तर)------------------आनंद।

संवत्सर--------------------------प्लव ।



      ।।आज के पंचांग के हालात को जानें।। 


तिथि----त्रयोदशी तिथि प्रातः(कल) 27:15:30 तक रहेगी, 

उसके बाद चतुर्दशी तिथि प्रातः(कल) 27:15:30 से शुरू होगी।

वार-------------सोमवार

नक्षत्र--------उत्तराषाढ़ा नक्षत्र प्रातःकाल 07:00:57 तक रहेगा,

उसके बाद

नक्षत्र----------श्रवण नक्षत्र प्रातःकाल 07:00:57 से शुरू होकर प्रातः(कल) 29:18:01 तक रहेगी

योग......वरियान योग दोपहर 14:23:44 तक रहेगा, 

उसके बाद में

योग.........परिध योग दोपहर 14:23:44 से शुरू होकर प्रातः(कल) 35:15:38 तक रहेगा।

करण.....गर करण सायंकाल 16:27:59 तक रहेगा, 

उसके बाद

करण.........वणिज करण प्रातः(कल) 27:15:30 तक रहेगा,

उसके बाद में

करण.......विष्टि(भद्रा) करण प्रातः(कल) 27:15:30 से शुरू होकर प्रातः(कल) 38:05:46 तक रहेगा।

चन्द्रमा की राशि-------मकर राशि में चन्द्रमा रहेगा।

सूर्य की राशि......सूर्य  कुम्भ राशि में रहेगा।

सौर प्रविष्टे............16, फाल्गुन।


सूर्य का उदय व अस्त, दिनमान व रात्रिमान और चन्द्रमा के उदय और अस्त का समय:-

सूर्योदय का समय:-प्रातःकाल 06:48:44।

सूर्यास्त का समय:-रात्रिकाल 18:18:54।

चन्द्रोदय का समय:-प्रातः(कल) 30:00:07

चन्द्रास्त का समय:-दोपहर 15:48:52। 

दिनमान का समय:-प्रातःकाल 11:30:10

रात्रिमान का समय:-दोपहर 12:28:47


    ।।आंग्ल मतानुसार 28 फरवरी 2022  ईस्वी सन।।


        ।।आज के दिन का शुभ मुहूर्त का समय।।     

                

अभिजीत महूर्त का समय:-दोपहर 12:11 से दोपहर 12:57 तक का समय शुभ होने से जिन कामों को करने में मुहूर्त नहीं मिलने पर अभिजीत मुहूर्त के समय में कामों को करने से कामयाबी मिलती है। 


          ।।आज के दिन के अशुभ मुहूर्त का समय।। 

                

राहुकाल मुहूर्त का समय:-प्रातःकाल 08:15 से 09:41 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त का समय होने से अच्छे कामों को इस समय में नहीं करे। 

यमघण्टा मुहूर्त का समय:-प्रातःकाल 11:08 से 12:34 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

गुलिक मुहूर्त का समय:-दोपहर 14:00 से 15:26 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

दूर मुहूर्त का समय:-दोपहर 12:57 से 13:43 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।

दूर मुहूर्त का समय:-दोपहर 15:15 से 16:01 तक रहेगा जो कि अशुभ मुहूर्त है।



       ।।आज के दिन दिशाशूल से बचने का उपाय।।


दिशा शूल:-पूर्व दिशा की ओर रहने से यदि जरूरी हो तो चन्दन लगाकर या चन्दन का दान करके या दूध पीकर करके यात्रा करने से दिशाशूल का परिहार हो जाता है। 



           ।।आज के शुभ-अशुभ चौघड़िया को जानें।।


नोट:-दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है। 

◆प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है। 

"चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।

शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥

रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।

अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥"

अर्थात-:

चर:- में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।

उद्वेग:- में जमीन सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।

शुभ:- में औरत श्रृंगार, सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।

लाभ:- में धंधा करें ।

रोग:- में जब कोई बीमार बीमारी से ठीक होने पर उसे स्नान करें। 

काल:- में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।

अमृत:- में सभी शुभ कार्य करें ।


     आज जन्में बच्चे के नक्षत्र का चरण और नाम अक्षर:-


चतुर्थ चरण जी अक्षर के उत्तराषाढ़ा नक्षत्र का समय प्रातःकाल 07:00:57 तक रहेगा।

पहले चरण खी अक्षर के श्रवण नक्षत्र का समय दोपहर 12:34:34 तक रहेगा।

दूसरे चरण खू अक्षर के श्रवण नक्षत्र का समय रात्रिकाल 18:08:33 तक रहेगा।

तीसरे चरण खे अक्षर के श्रवण नक्षत्र का समय रात्रिकाल 23:42:58 तक रहेगा।

चतुर्थ चरण खो अक्षर के श्रवण नक्षत्र का समय प्रातः(कल) 29:18:01 तक रहेगा।


       दिन के चौघड़िया के समय से जानें मुहूर्त को:- 


अमृत का चौघड़िया:-प्रातःकाल 06:49 से 08:15 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

काल का चौघड़िया:-प्रातःकाल 08:15 से 09:41 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए अशुभ रहेगा।

शुभ का चौघड़िया:-प्रातःकाल 09:41 से 11:08 तक रहेगा, जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

रोग का चौघड़िया:-प्रातःकाल 11:08 से 12:34 तक रहेगा, जो कि शुभ  कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

उद्वेग का चौघड़िया:-दोपहर 12:34 से 14:00 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

चर का चौघड़िया:-दोपहर 14:00 से 15:26 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

लाभ का चौघड़िया:-दोपहर 15:26 से 16:53 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

अमृत का चौघड़िया:-सायंकाल 16:53 से 18:19 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।


       रात के चौघड़िया के समय से जानें मुहूर्त को:-


चर का चौघड़िया:-रात्रिकाल 18:19 से 19:53 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

रोग का चौघड़िया:-रात्रिकाल 19:53 से 21:26 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के शुभ रहेगा।

काल का चौघड़िया:-रात्रिकाल 21:26 से 22:59 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

लाभ का चौघड़िया:-रात्रिकाल 22:59 से 24:33 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

उद्वेग का चौघड़िया:-मध्य रात्रि 24:33 से 26:07 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

शुभ का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 26:07 से 27:41 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

अमृत का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 27:41 से 29:14 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।

चर का चौघड़िया:-प्रातः(कल) 29:14 से 30:48 तक रहेगा जो कि शुभ कार्य को करने के लिए शुभ रहेगा।


         ।।सूर्य के उदय के समय के लग्न को जानें।।


सूर्योदयकालीन उदित लग्न:-कुम्भ लग्न 15°16' गति 315°16' रहेगा।

सूर्य नक्षत्र:-शतभिषा नक्षत्र में सूर्य रहेंगे।

चन्द्रमा नक्षत्र:-उत्तराषाढ़ा नक्षत्र में चन्द्रमा रहेंगे।

           

गोचर राशि में ग्रहों के हालात,नक्षत्रों के चरण और अक्षर :-जो नीचे बताये गए है:-


ग्रह----------राशि----------नक्षत्र के चरण--अक्षर      


सूर्य ग्रह:- कुम्भ राशि में शतभिषा नक्षत्र के तीसरे चरण के सी अक्षर में रहेगा।  

चन्द्रमा ग्रह:- मकर राशि में उत्तराषाढ़ा नक्षत्र के चौथे चरण के जी अक्षर में रहेगा।  

मंगल ग्रह:- मकर राशि में उत्तराषाढ़ा नक्षत्र के दूसरे चरण के भो अक्षर में रहेगा।   

बुध ग्रह:- मकर राशि में श्रवण नक्षत्र के चौथे चरण के खो अक्षर में रहेगा। 

गुरु ग्रह:- कुम्भ  राशि में शतभिषा नक्षत्र के चौथे चरण के सू अक्षर में रहेगा।

शुक्र-ग्रह:- मकर राशि में उत्तराषाढ़ा नक्षत्र के दूसरे चरण के भो अक्षर में रहेगा।

शनि ग्रह:-मकर राशि में घनिष्ठा नक्षत्र के पहले चरण के गा अक्षर में रहेगा।

राहु ग्रह:-वृषभ राशि में कृत्तिका नक्षत्र के दूसरे चरण के ई अक्षर में रहेगा।

केतु ग्रह:-वृश्चिक राशि में विशाखा नक्षत्र के चौथे चरण के तो अक्षर में रहेगा। 

 


        ।।अंक शास्त्र ज्योतिष विज्ञान से जानें हाल:-


28 तारीख को जन्में मनुष्य के लिए मूलांक 01 के लिए शुभाशुभ:-

शुभ-तारीखें:-हर माह की 1, 10, 19 व 28 तारीख शुभ है।

शुभ-वार:-रविवार, सोमवार।

शुभ-वर्ष:-उम्र के 1, 10, 19, 28, 37, 46, 55, 64, 73, 82 और 91 वें वर्ष।

शुभ-दिशा:-पूर्व दिशा।

शुभ-रंग:-पिला, सुनहरा, नारंगी, ताम्रवर्ण।

शुभ-रत्न:-माणिक्य।

शुभ-धातु:-सोना, ताँबा।

आराध्य-देव:-सूर्य देव व शिव भगवान।

जपनीय-मन्त्र:-ऊँ घृणिः सूर्याय नमः ।

पूज्य-धारण योग्य यंत्र:-

              6        1       8

              7        5       3

              2        9       4

मित्र-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-1, 2, 3, 9।

शत्रु-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-4, 6, 7, 8।

सम-अंक (मालिक ग्रह के अनुसार):-5।